लालमिर्च में तेजी की संभावना
30-Oct-2025 06:48 PM
नई दिल्ली। हाल ही में लालमिर्च की कीमतों में 3/4 रुपए प्रति किलो की तेजी दर्ज की गई है और अभी भी धारणा बाजार में तेजी की बनी हुई है। चालू सप्ताह के शुरू में मोंथा चक्रवात के कारण गुंटूर मंडी दो दिन के लिए बंद रही। लेकिन आज मंडी में व्यापार सुचारु रूप से शुरू होने के पश्चात लालमिर्च के भाव 3/4 रुपए प्रति किलो तेजी के साथ बोले गए और तेजा का भाव 152/153 रुपए प्रति किलो तक बोला जाने लगा। तेलंगाना में बारिश होने के कारण खम्मम एवं वारंगल मंडी में अवकाश रहा। जानकार व्यापारियों का कहना है कि पहले ही उत्पादक केन्द्रों पर लालमिर्च की बिजाई 25/30 प्रतिशत कम रही थी। वर्तमान में आए चक्रवात से भी फसल को नुकसान हुआ है। जिस कारण से भाव तेजी के साथ बोले जा रहे हैं। सूत्रों का मानना है कि जल्द ही लालमिर्च के दामों में 5/10 रुपए प्रति किलो की ओर तेजी संभव है।
वर्तमान में मध्य प्रदेश की मंडियों में नए लालमिर्च की आवक हो रही है लेकिन पैदावार कम होने के कारण आवक आशानुरूप नहीं है। मध्य प्रदेश की प्रमुख मंडी बेडिया में नई लालमिर्च डंडीकट का भाव 140/160 रुपए एवं डंडीदार का भाव 120/140 रुपए बोला जा रहा है।
मन्दा-तेजी
जानकारों का कहना है कि आंध्र प्रदेश की मंडियों में नए लालमिर्च की आवक शुरू होने तक लालमिर्च की कीमतों में अधिक मन्दा संभव नहीं है। क्योंकि दूसरे वर्ष भी देश में लालमिर्च का उत्पादन घटने के अनुमान लगाया जा रहे हैं। इसके अलावा उत्पादक केन्द्रों पर अच्छी क्वालिटी का स्टॉक भी कम है। जबकि निर्यातकों की बराबर मांग चल रही है। आंध्र प्रदेश एवं तेलंगाना में नए लालमिर्च की आवक का दबाव जनवरी माह में बनेगा। सूत्रों का मानना है कि आगामी दिनों में कीमतों में 8/10 रुपए प्रति किलो की ओर तेजी आने के पश्चात बाजार में मुनाफावसूली बिकवाली बढ़ सकती है। जिस कारण से अल्पकाल के लिए बढ़ते भाव रुक सकते हैं या 3/5 रुपए घट सकते हैं। अभी तक कि स्थिति को देखते हुए संभावना व्यक्त की जा रही है वर्ष 2026 में लालमिर्च के भाव ऊंचे रहेंगे। वर्तमान में लालमिर्च के भाव गत वर्ष की तुलना में कम चल रहे हैं। गत वर्ष अक्टूबर माह के अंत में गुंटूर मंडी में लालमिर्च तेजा का भाव 178/180 रुपए प्रति किलो चल रहा था जबकि वर्तमान में भाव 152/153 रुपए चल रहा है। खम्मम मंडी में भी गत वर्ष इसी समयावधि में लालमिर्च तेजा का भाव 185/187 रुपए बोला जा रहा था। जबकि वर्तमान में भाव 151/152 रुपए बोला जा रहा है।
निर्यात अधिक
बांग्ला देश की बराबर लिवाली बनी रहने के कारण चालू वित्त वर्ष के प्रथम चार माह में लालमिर्च के निर्यात में शानदार 63 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है। जबकि भाव कम होने के कारण आय में 31 प्रतिशत का इजाफा हुआ है। मसाला बोर्ड द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार अप्रैल-जुलाई- 2025 के दौरान लालमिर्च निर्यात 270867 टन का हुआ। और निर्यात से प्राप्त आय 3888.61 करोड़ की रही। गत वर्ष अप्रैल-जुलाई 2024 में लालमिर्च का निर्यात 165923 टन का और निर्यात से प्राप्त आय 2977.95 करोड़ की रही थी। वर्ष 2024-25 (अप्रैल-मार्च) के दौरान लालमिर्च का कुल निर्यात 715506 टन का हुआ और प्राप्त आय 11404.90 करोड़ की रही।
